जेपी राणा, उत्तरकाशी।
राड़ी टॉप के जंगलों से लापता भेड़ पालक का शव बरामद कर लिया गया है। एसडीआरफ की सर्च टीम ने किसी जंगली जानवर के हमले में चरवाहे की मौत की आंशका जताई है। सर्च टीम के सदस्यों ने बताया कि भेड़ पालक के चेहरे पर जंगली जानवर के हमले के निशान हैं।
जानकारी के अनुसार बीते 13 अप्रैल शाम करीब पांच बजे तहसील मोरी के भीतरी गांव निवासी नाजी सिंह एक अन्य साथी रामपाल सिंह के साथ राड़ी टॉप के जंगलों से लौटते समय लापता हो गए। नाजी सिंह की तलाश के लिए एसडीआरएफ व वन विभाग ने चार से पांच दिन सर्च अभियान चलाया। इस बीच एसडीआरएफ व वन विभाग ने राड़ी टॉप के पूरे जंगल को छान मारा। मंगलवार करीब साढ़े तीन बजे टीम को खाई में पेड़ के नीचे नाजी का शव मिला। बताया जा रहा है कि जहां भेड़पालक लापता हुआ, उसी स्थान के दायरे में शव मिला है।
एसडीआरफ निरीक्षक जगदंबा प्रसाद बिजल्वाण ने बताया कि 60 वर्षीय नाजी सिंह के चेहरे पर जंगली जानवर के हमले के निशान है। आंशका है कि किसी जंगली जानवर के हमले में नाजी की जान गई। आंशका ये भी है कि किसी जंगली जानवर के हमले में नाजी सिंह की यहां गिरने से मौत हो गई। प्रभारी निरीक्षक बड़कोट गजेंद्र बहुगुणा ने बताया कि शव का पंचनामा भरकर परिजनों को सौंपेंगे।
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